
The Fact India: महाराष्ट्र का सियासी संकट (Maharashtra Politics) गहराता जा रहा है. असम में भले ही बाढ़ आई हुई हो लेकिन महाराष्ट्र से असम पहुंचे नेताओं ने समुन्द्र किनारे बसे महाराष्ट्र में सियासी सुनामी ला दी है. इस सियासी खेला को ख़त्म करने और पार्टी को बचाने के लिए अब शिवसेना गठबंधन को तोड़ने के लिए तैयार हो गई है. लेकिन अब बागियों ने भी शर्त रख दी है.
बागी गुट (Maharashtra Politics) ने कहा है कि मुख्यमंत्री पद से उद्धव ठाकरे इस्तीफा देते हैं और एमवीए (महा विकास अघाड़ी) से बाहर आते हैं तभी आगे की बात होगी. हम उद्धव ठाकरे की बातों पर विश्वास नहीं कर सकते.
Maharashtra Political Drama: शिंदे साबित होंगे? पायलट या सिंधिया
दरअसल राज्यसभा सांसद संजय राउत ने गुरुवार को मीडिया से बात करते हुए कहा कि महाराष्ट्र के बाहर जो विधायक हैं, उन्होंने हिंदुत्व का मुद्दा उठाया है. जो चाहते हैं कि शिवसेना को गठबंधन से निकलना चाहिए, उन्हें मुंबई आना चाहिए. हिम्मत करके यहां आए और साथ बैठकर बात करें. यहां आकर बात करो तो शिवसेना महा विकास अघाड़ी से भी बाहर आने को तैयार है. फ्लोर टेस्ट हुआ तो हमारी जीत होगी. 24 घंटे में मुंबई आओ और उद्धव ठाकरे के साथ बैठकर बात करो.
इससे पहले बुधवार को एकनाथ शिंदे ने ट्वीट करते हुए कहा था कि नवंबर, 2019 में गठित एमवीए से सिर्फ गठबंधन सहयोगियों कांग्रेस और राकांपा को लाभ हुआ है जबकि सामान्य शिवसैनिकों को गठबंधन के पिछले ढाई साल में सबसे ज्यादा तकलीफ हुई है. आगे ट्वीट में कहा कि शिवसेना और शिवसैनिकों के हित में यह आवश्यक है कि इस अप्राकृतिक गठबंधन से बाहर निकला जाए. राज्य के हित में फैसला लेना आवश्यक है.

Anish Shekhar– Content Producer Cum Content Editor / Reporter
(Post Graduation- Haridev Joshi University of Journalism & Mass Communication)