Dark Mode

Vote / Poll

BJP और Congress के बीच क्या Rajasthan में Aam Aadmi Party अपनी जगह बना पाएगी ?

View Results
अब जनता कांग्रेस-भाजपा से परेशान हो चुकी है
30%
'आप' की वजह से कांग्रेस और भाजपा में चिंता है
10%
केजरीवाल राजस्थान में कामयाब नहीं हो पाएंगे
90%
राजस्थान में भी 'आप' की सरकार बननी चाहिए
70%
Total count : 138

Vote / Poll

डेगाना विधानसभा क्षेत्र से आप किसको भाजपा का जिताऊँ प्रत्याशी मानते है ?

अजय सिंह किलक
56%
शिव देशवाल
26%
अन्य
18%
Total count : 7524

Vote / Poll

कर्नाटक का मुख्यमंत्री किसे बनाया जा सकता है?

View Results
सिद्देरमैया
67%
डीके शिवकुमार
13%
मल्लिकार्जुन खड़गे
13%
बता नहीं सकते
7%
Total count : 15

Vote / Poll

फिल्मों के विवादित होने के क्या कारण हैं?

View Results
समुदाय विशेष को टारगेट करना
33%
राजनीतिक लाभ लेने के लिए
11%
फिल्मों को हिट करने के लिए
44%
कुछ बता नहीं सकते
11%
Total count : 9

Newsletter

Subscribe to our mailing list to get the new updates!

देश में फैल रहा कोरोना जैसा फ्लू, आईएमए ने दी सलाह- एंटीबायोटिक्स सोच-समझकर ही लें

The Fact India: यह खबर आपको सावधान करने वाली है। देश में कोरोना जैसा इन्फ्लूएंजा के मामले तेजी से फैल रहा है। इस फ्लू के लक्षण भी कोरोना जैसा ही है। पिछले दो महीने में देश की राजधानी दिल्ली समेत भारत के कई हिस्सों में फ्लू के मरीजों में बढ़ोतरी हुई है। फ्लू के मरीजों में कोरोना जैसे ही लक्षण देखने को मिल रहे हैं। दिल्ली और आसपास के इलाकों से कई ऐसे मरीज अस्पताल पहुंचे हैं, जो 10-12 दिनों से तेज बुखार के साथ खांसी से परेशान हैं।

इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आईसीएमआर) की रिपोर्ट के मुताबिक पिछले दो-तीन महीनों से इन्फ्लूएंजा वायरस का एक सब-टाइप एच3एन2 (H3N2) फैल रहा है। देश के कई हिस्सों में फ्लू से पीडि़त लोगों में इसी स्ट्रेन के लक्षण मिले हैं। मेडिकल एक्सपर्ट्स के मुताबिक, बाकी सब-टाइप्स की तुलना में इस वैरिएंट की वजह से लोग अस्पतालों में ज्यादा भर्ती होते हैं।

डॉक्‍टरों के मुताबिक, इन्फ्लुएंजा ए वायरस के एच3एन2 स्ट्रेन से संक्रमित मरीज को 2-3 दिनों तक तेज बुखार बना रहता है। शरीर में दर्द, सिरदर्द, गले में जलन इसके अलावा मरीज में लगातार दो हफ्ते तक खांसी होती है। ये फ्लू के सामान्य लक्षणों में गिने जाते हैं।प्राइमस स्लीप एंड क्रिटिकल केयर मेडिसिन विभाग के प्रमुख एसके छाबड़ा ने बताया कि मरीजों में वायरल फीवर के साथ, सर्दी, खांसी और ब्रॉन्काइटिस जैसी फेफड़ों से जुड़ी गंभीर समस्याएं देखने को मिल रही हैं। वहीं, सीने में जकड़न और वायरल इंफेक्शन के मामले भी देखे जा रहे हैं।

इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च ने बताया कि इन्फ्लूएंजा से संक्रमित होने पर फेस मास्क पहनें और भीड़भाड़ वाली जगहों पर जाने से बचें। अपने हाथों को साबुन और पानी से नियमित रूप से धोते रहें। नाक और मुंह को टच न करें। खांसते या छींकते समय अपने नाक और मुंह को अच्छी तरह कवर करें। खुद को हाइड्रेट रखें, पानी के अलावा फ्रूट जूस या अन्य पेय पदार्थ लेते रहें। बुखार आने की स्थिति में पैरासिटामोल लें।

वहीं, इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आईएमए) ने भी गाइडलाइन जारी की है। आईएमए ने लोगों को सलाह दी है कि सर्दी, जुकाम, बुखार और उबकाई आने पर बिना सोचे-समझे एंटीबायोटिक्स न लें। एसोसिएशन ने डॉक्टरों को भी कहा है कि वे मरीजों के लक्षणों को देखकर ही इलाज करें। एंटीबायोटक्स प्रिस्क्राइब न करें। एसोसिएशन ने कहा कि हमने कोरोना के दौरान एजिथ्रोमाइसिन और आइवरमेक्टिन का जरूरत से ज्यादा उपयोग होते देखा है। ज्यादा एंटीबायोटिक्स लेने से लोगों के शरीर में इसे लेकर प्रतिरोध पैदा हो गया है। इसलिए एंटीबायोटिक्स प्रिस्क्राइब करने से पहले ये देखना होगा कि इन्फेक्शन बैक्टीरियल है या नहीं।

You May Also Like